आमतौर पर हल्दी वाला दूध हेल्दी माना जाता है। दर्द होने पर, सर्दी-खांसी होने पर घरों में लोग सबसे पहले हल्दी वाला दूध पीने की सलाह देते हैं, जिसे लोग खुशी-खुशी पी भी लेते हैं। लेकिन ये हल्दी वाला दूध फायदे की जगह नुकसान पहुंचा सकता है। हल्दी की तासीर गर्म होती है और इसमें खून काे पतला करने का गुण होता है। इसलिए हर किसी को इसे नहीं लेना चाहिए। खासकर उन लोगों को जिनकी बॉडी गर्म रहती है या जिन्हें नाक से खून आना या पाइल्स जैसी प्रॉब्लम्स रहती हैं। यह ब्लीडिंग को बढ़ा देता हैे।
यदि किसी कारण से शरीर के बाहरी या अंदरूनी हिस्से में चोट लग जाए, तो हल्दी वाला दूध उसे जल्द से जल्द ठीक करने में बेहद लाभदायक है। क्योंकि यह अपने एंटी बैक्टीरियल और एंटीसेप्टिक गुणों के कारण बैक्टीरिया को पनपने नहीं देता।
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हल्दी वाले दूध पीने से त्वचा में भी निखार आता है। जी हां, क्योंकि इसमें एंटीसेप्टिक व एंटीबैक्टीरियल जैसे गुण मौजूद होते हैं जो स्किन से संबंधित सभी रोगों जैसे इन्फेक्शन, खुजली, मुंहासे आदि को आपकी त्वचा से दूर भगाते हैं और उनके बैक्टीरिया को खत्म करते हैं, जिससे आपकी स्किन चमकदार होती है।
शोध की माने तो हल्दी में मौजूद तत्व कैंसर कोशिकाओं से डीएनए को होने वाले नुकसान को रोकते हैं और कीमोथेरेपी के दुष्प्रभावों को कम करते हैं।
हल्दी वाला दूध पीने से कान के दर्द में राहत मिलती है। ऐसा दूध पीने से ब्लड सर्कुलेशन बढ़ जाता है. जिससे दर्द में तेजी से आराम मिलता है।